Yā 'Ayyuhā An-Nabīyu 'Idhā Ţallaqtumu An-Nisā' Faţalliqūhunna Li`iddatihinna Wa 'Aĥşū ۖ Al-`Iddata Wa Attaqū Allaha Rabbakum ۖ Lā Tukhrijūhunna Min Buyūtihinna Wa Lā Yakhrujna 'Illā 'An Ya'tīna Bifāĥishatin ۚ Mubayyinatin Wa Tilka ۚ Ĥudūdu Allāhi Wa Man Yata`adda Ĥudūda Allāhi FaqadŽalama ۚ Nafsahu Lā Tadrī La`alla Allāha Yuĥdithu Ba`da Dhālika 'Amrāan
065-001 ऐ रसूल (मुसलमानों से कह दो) जब तुम अपनी बीवियों को तलाक़ दो तो उनकी इद्दत (पाकी) के वक्त तलाक़ दो और इद्दा का शुमार रखो और अपने परवरदिगार ख़ुदा से डरो और (इद्दे के अन्दर) उनके घर से उन्हें न निकालो और वह ख़ुद भी घर से न निकलें मगर जब वह कोई सरीही बेहयाई का काम कर बैठें (तो निकाल देने में मुज़ायका नहीं) और ये ख़ुदा की (मुक़र्रर की हुई) हदें हैं और जो ख़ुदा की हदों से तजाउज़ करेगा तो उसने अपने ऊपर आप ज़ुल्म किया तो तू नहीं जानता यायद ख़ुदा उसके बाद कोई बात पैदा करे (जिससे मर्द पछताए और मेल हो जाए)
Fa'idhā Balaghna 'Ajalahunna Fa'amsikūhunna Bima`rūfin 'Aw Fāriqūhunna Bima`rūfin Wa 'Ash/hidū Dhaway `Adlin Minkum Wa 'Aqīmū Ash-Shahādata Lillāh ۚ Dhālikum Yū`ažu Bihi Man Kāna Yu'uminu Billāhi Wa Al-Yawmi Al-'Ākhiri ۚ Wa Man Yattaqi Allāha Yaj`al Lahu Makhrajāan
065-002 तो जब ये अपना इद्दा पूरा करने के करीब पहुँचे तो या तुम उन्हें उनवाने शाइस्ता से रोक लो या अच्छी तरह रूख़सत ही कर दो और (तलाक़ के वक्त) अपने लोगों में से दो आदिलों को गवाह क़रार दे लो और गवाहों तुम ख़ुदा के वास्ते ठीक ठीक गवाही देना इन बातों से उस शख़्श को नसीहत की जाती है जो ख़ुदा और रोजे अाख़ेरत पर ईमान रखता हो और जो ख़ुदा से डरेगा तो ख़ुदा उसके लिए नजात की सूरत निकाल देगा
Wa Yarzuqhu Min Ĥaythu Lā Yaĥtasibu ۚ Wa Man Yatawakkal `Alá Allāhi Fahuwa Ĥasbuhu~ ۚ 'Inna Allāha Bālighu 'Amrihi ۚ Qad Ja`ala Allāhu Likulli Shay'inQadrāan
065-003 और उसको ऐसी जगह से रिज़क़ देगा जहाँ से वहम भी न हो और जिसने ख़ुदा पर भरोसा किया तो वह उसके लिए काफी है बेशक ख़ुदा अपने काम को पूरा करके रहता है ख़ुदा ने हर चीज़ का एक अन्दाज़ा मुक़र्रर कर रखा है
Wa Al-Lā'ī Ya'isna Mina Al-Maĥīđi Min Nisā'ikum 'Ini Artabtum Fa`iddatuhunna Thalāthatu 'Ash/hurin Wa Al-Lā'ī Lam Yaĥiđna ۚ Wa 'Ūlātu Al-'Aĥmāli 'Ajaluhunna 'An Yađa`na Ĥamlahunna ۚ Wa Man Yattaqi Allāha Yaj`al Lahu Min 'Amrihi Yusrāan
065-004 और जो औरतें हैज़ से मायूस हो चुकी अगर तुम को उनके इद्दे में शक़ होवे तो उनका इद्दा तीन महीने है और (अला हाज़ल क़यास) वह औरतें जिनको हैज़ हुआ ही नहीं और हामेला औरतों का इद्दा उनका बच्चा जनना है और जो ख़ुदा से डरता है ख़ुदा उसके काम मे सहूलित पैदा करेगा
'Askinūhunna Min Ĥaythu Sakantum Min Wujdikum Wa Lā Tuđārrūhunna Lituđayyiqū `Alayhinna ۚ Wa 'In Kunna 'Ūlāti Ĥamlin Fa'anfiqū `Alayhinna Ĥattá Yađa`na Ĥamlahunna ۚ Fa'in 'Arđa`na Lakum Fa'ātūhunna 'Ujūrahunna ۖ Wa 'Tamirū Baynakum Bima`rūfin ۖ Wa 'In Ta`āsartum Fasaturđi`u Lahu~ 'Ukhrá
065-006 मुतलक़ा औरतों को (इद्दे तक) अपने मक़दूर मुताबिक दे रखो जहाँ तुम ख़ुद रहते हो और उनको तंग करने के लिए उनको तकलीफ न पहुँचाओ और अगर वह हामेला हो तो बच्चा जनने तक उनका खर्च देते रहो फिर (जनने के बाद) अगर वह बच्चे को तुम्हारी ख़ातिर दूध पिलाए तो उन्हें उनकी (मुनासिब) उजरत दे दो और बाहम सलाहियत से दस्तूर के मुताबिक बात चीत करो और अगर तुम बाहम कश म कश करो तो बच्चे को उसके (बाप की) ख़ातिर से कोई और औरत दूध पिला देगी
065-007 गुन्जाइश वाले को अपनी गुन्जाइश के मुताबिक़ ख़र्च करना चाहिए और जिसकी रोज़ी तंग हो वह जितना ख़ुदा ने उसे दिया है उसमें से खर्च करे ख़ुदा ने जिसको जितना दिया है बस उसी के मुताबिक़ तकलीफ़ दिया करता है ख़ुदा अनकरीब ही तंगी के बाद फ़राख़ी अता करेगा
Wa Ka'ayyin MinQaryatin `Atat `An 'Amri Rabbihā Wa Rusulihi Faĥāsabnāhā ĤisābāanShadīdāan Wa `Adhdhabnāhā `Adhābāan Nukrāan
065-008 और बहुत सी बस्तियों (वाले) ने अपने परवरदिगार और उसके रसूलों के हुक्म से सरकशी की तो हमने उनका बड़ी सख्ती से हिसाब लिया और उन्हें बुरे अज़ाब की सज़ा दी
'A`adda Allāhu Lahum `AdhābāanShadīdāan Fa ۖ Attaqū Allaha Yā 'Ūlī Al-'Albābi Al-Ladhīna 'Āmanū ۚ Qad 'Anzala Allāhu 'IlaykumDhikrāan
065-010 ख़ुदा ने उनके लिए सख्त अज़ाब तैयार कर रखा है तो ऐ अक्लमन्दों जो ईमान ला चुके हो ख़ुदा से डरते रहो ख़ुदा ने तुम्हारे पास (अपनी) याद क़ुरान और अपना रसूल भेज दिया है
Rasūlāan Yatlū `Alaykum 'Āyāti Allāhi Mubayyinātin Liyukhrija Al-Ladhīna 'Āmanū Wa `Amilū Aş-Şāliĥāti Mina Až-Žulumāti 'Ilá An-Nūri ۚ Wa Man Yu'umin Billāhi Wa Ya`mal Şāliĥāan Yudkhilhu Jannātin Tajrī Min Taĥtihā Al-'AnhāruKhālidīna Fīhā 'Abadāan ۖ Qad 'Aĥsana Allāhu LahuRizqāan
065-011 जो तुम्हारे सामने वाज़ेए आयतें पढ़ता है ताकि जो लोग ईमान लाए और अच्छे अच्छे काम करते रहे उनको (कुफ़्र की) तारिक़ियों से ईमान की रौशनी की तरफ़ निकाल लाए और जो ख़ुदा पर ईमान लाए और अच्छे अच्छे काम करे तो ख़ुदा उसको (बेहिश्त के) उन बाग़ों में दाखिल करेगा जिनके नीचे नहरें जारी हैं और वह उसमें अबादुल आबाद तक रहेंगे ख़ुदा ने उनको अच्छी अच्छी रोज़ी दी है
Al-Lahu Al-Ladhī Khalaqa Sab`a Samāwātin Wa Mina Al-'Arđi Mithlahunna Yatanazzalu Al-'Amru Baynahunna Lita`lamū 'Anna Allāha `Alá Kulli Shay'inQadīrun Wa 'Anna Allāha Qad 'Aĥāţa Bikulli Shay'in `Ilmāan
065-012 ख़ुदा ही तो है जिसने सात आसमान पैदा किए और उन्हीं के बराबर ज़मीन को भी उनमें ख़ुदा का हुक्म नाज़िल होता रहता है - ताकि तुम लोग जान लो कि ख़ुदा हर चीज़ पर कादिर है और बेशक ख़ुदा अपने इल्म से हर चीज़ पर हावी है